PATNA (BIHAR NEWS NETWORK- DESK)
पटना में गंगा का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। शुक्रवार को बढ़ने की रफ्तार थोड़ी कम हुई, बावजूद एक सेमी प्रतिघंटा की रफ्तार से गंगा बढ़ रही है। गंगा, सोन, पुनपुन, कोसी समेत राज्य की 11 नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं।
राज्य के 15 जिलों में बाढ़ का कहर जारी है। मौसम विभाग ने भी उत्तर बिहार के छह जिलों में भारी बारिश और वज्रपात का अलर्ट जारी किया है। पटना के हाथिदह में गंगा शुक्रवार को उच्चतम जलस्तर से भी आठ सेमी ऊपर 43.25 मीटर पर चली गई। अथमलगोला के सबनीमा के पास गंगा एनएच 31 के ऊपर बह रही है।
हालांकि अभी यातायात बाधित नहीं हुआ है। राजधानी में पटना सुरक्षा बांध और गंगा से जुड़े नालों के गेट पर दबाव बढ़ गया है। एलसीटी घाट, राजेंद्र घाट सहित कई घाटों पर सड़क के करीब पानी आने से प्रशासन सतर्क है। दीघा लॉक से भी 13 मोटर के जरिए पानी निकाला जा रहा है।
पटना के गांधीघाट पर गंगा का जलस्तर शुक्रवार अपराह्न तीन बजे 50.25 मीटर हो गया था, यहां उच्चतम जलस्तर 50.52 मीटर है। दीघा में जलस्तर 51.62 मीटर था। हालांकि शुक्रवार को इलाहाबाद के साथ बनारस में भी गंगा नदी उतरने लगी है।
इलाहाबाद में तो लाल निशान से नीचे आ गई है, लेकिन इसका प्रभाव बिहार में दिखने में अभी वक्त लगेगा। वहीं पुनपुन और सोन का पानी भी कई गांवों में प्रवेश कर गया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को सड़क मार्ग से आरा होते हुए सारण जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में और सोन, गंडक और गंगा के जलस्तर का जायजा लिया।
बता दें की उन्होंने आपदा प्रबंधन विभाग और जलसंसाधन विभाग को मौसम विभाग द्वारा जारी अलर्ट वाले जिलों के डीएम के संपर्क में रहने का निर्देश दिया है। राज्य में बाढ़ की स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही है। गंगा नदी के बढ़ने का सिलसिला तो जारी है ही दूसरी प्रमुख नदियां भी एक बार फिर उफनाने लगी हैं तथा खतरे के निशान से काफी ऊपर बह रही हैं।
लिहाजा आधा बिहार में जलप्रलय के हालात हैं। उधर, मौसम विभाग ने एक दर्जन जिलों में 15 अगस्त तक भारी बारिश की आशंका जताई है। ऐसे में उन जिलों के कई इलाकों में डर का माहौल बन गया है। वहीं, सोन, पुनपुन, कोसी समेत राज्य की नदियां पहले से खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। ऐसे में बारिश नहीं थमी तो इनका जलस्तर और बढ़ सकता है तथा हालात और बिगड़ जाएंगे।